बेमौसम बारिश ने फेरा किसानों की मेहनत पर पानी

महासमुंद। शुक्रवार को सुबह से बादल छाये रहने के बाद देर शांम 7 बजे अंचल में हुई 40 मिनट की तेज बारिश ने किसानों की मेहनत पर पानी फेर दिया है। तैयार धान की फसल देखते ही देखते बर्बाद हो गई। जिससे किसानों में मायूसी छा गई है। महासमुंद जिले व के कई जिलों में पानी गिरे । अधिकतर किसानों के खेतों में धान पककर तैयार खड़े थे।
कुछ किसान तो एक दो दिन के भीतर धान काटने की तैयारी में थे कि बारिश ने उनकी उम्मीदों पर पानी फेर दिया। किसानों का कहना है कि फसल जमीन पर बिछ गई है। धान की फसल में पानी ज्यादा दिनों तक रहने से अंकुरण होकर धान खराब हो जायेगा। अधिकतर किसानों का कहना है कि बारिश की वजह से सरना धान को ज्यादा नुकसान हुआ है।
कुछ फसल कटी पड़ी थी, जिसका दाना काला पड़ सकता है। अब मौसम साफ रहा तो धान सूख सकता है, वरना दाने को नुकसान होगा। किसान इन दिनों सुबह से शांम तक खेतों में धान की कटाई में दिनभर जुटे है। बेमौसमी बारिश के कारण किसान खासे चिंतित है। वही इस वर्ष विलंब से धान खरीदी होने के कारण किसानों के मेहनत की कमाई अभी खलिहानों में ही पड़ा हुुआ है। इस बार धान की पैदावार अच्छी होने से क्षेत्र के किसान काफी उत्साहित थे लेकिन बेमौसम बारिश ने किसानों की मेहनत पर पानी फेर दिया है।
समर्थन मूल्य में धान खरीदी शुरू नहीं होने पर किसान धान को काटकर बीड़ा बांधकर खेत पर खरही बनाकर रख दिये है। समर्थन मूल्य में धान खरीदी शुरू होने पर किसान थे्रशर मशीन से मिंजाई कराकर सीधे सोसायटी में बेचने पहुंचेंगे। वही अधिकांश किसानों की फसल मौसम की मार की वजह से धान की फसल लेट गई है, जिसकी वजह से मजदूरों से कटाई कराने में लागत बढ़ गई हैै